आंध्र प्रदेश गैस रिसाव
AndhraPradesh Gas Leakआंध्र प्रदेश :- बृहस्पतिवार को आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम में प्लास्टिक फैक्ट्री में जहरीली गैस रिसाव से एक बच्चे समेत कम से कम 11 लोगों की मौत हो गई और हजारों लोग घायल हो गए ।विशाखापट्टनम से करीब 30 किलोमीटर दूर आर. आर. वेंकटरपुरम गांव में स्थित दक्षिण कोरियाई कंपनी एलजी पॉलीमर्स के संयंत्र में बुधवार और बृहस्पतिवार की रात 2:30 बजे के करीब जहरीली गैस स्टाइरीन का रिसाव हुआ।
भोपाल गैस कांड ,करीब 36 साल पहले 2 दिसंबर,1984 की रात को यूनियन काबाइंड फैक्ट्री से methyl isocyanate गैस का रिसाव हुआ, जिसमें सैकड़ों लोगों की नींद में ही मौत हो गई थी।
भोपाल गैस कांड में 3,787 लोगो की मौत हुई थी।
2011 में पुणे क्लोरीन गैस, 2014 में भिलाई स्टील प्लांट में जहरीली गैस और 2018 में रत्नागिरी मुंबई में अमोनिया गैस के रिसाव से अनेक लोगों की जानें चली गई थी ।
और अब 2020 में आंध्र प्रदेश के गैस कांड से यह दिख रहा है कि औद्योगिक सुरक्षा को लेकर आज भी कैसी आपराधिक लापरवाही बरती जा रही है।
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दक्षिण कोरिया के स्वामित्व वाली यह फैक्ट्री कोविड-19 के कारण लगाए गए लॉकडाउन की वजह से बंद थी और इसे दोबारा खोलने की तैयारी की जा रही थी, उसी समय सिंथेटिक रबड़ और रेसिंन बनाने के काम आने वाले स्टाइरीन के भंडार में से गैस रिसने लगी ।
इस हादसा में दो बच्चे भी मारे गए हैं। 25 लोग वेंटिलेटर पर हैं इनमें 15 बच्चों की हालत नाजुक है 2 की मौत तो अफरा-तफरी के बीच गांव से भागते वक्त बोरवेल में गिरने से हो गई थी। दम घुटने और बेहोशी की शिकायत पर 800 से ज्यादा लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
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यह हादसा जब हुआ उस समय फैक्टरी के आसपास के करीब आधा दर्जन गांवों के हजारों लोग नींद में थे। पुलिस के अनुसार सुबह करीब 3:30 बजे गैस रिसाव के कारण सैयद के पास के गांव वेंकट पुरम के लोग सांस लेने में तकलीफ और आंखों में जलन की वजह से डरे सहमे उठे ।
लोगों को कमरे में घुटन होने लगी तो सब बाहर सड़क पर आ गए। उन्हें ऐसा लगा कि शायद कोरोना वायरस हवा मैं फैल गया है। इस डर से सभी लोग फिर से वापस अपने-अपने घरों में चले गए और उन्होंने दरवाजे खिड़कियां सब बंद कर लिए। लेकिन घुटन इतनी ज्यादा थी कि सभी फिर से अपने घर के बाहर निकल आए।
थोड़ी देर में सड़कों पर लोग तड़पने लगे। सभी तरफ खौफ और बदहवासी का मंजर था।जो जहां खड़ा था वहीं गिर पड़ा लोग सांस तक नहीं ले पा रहे थे। रात के अंधेरे में ही लोग जहां जैसे थे वहीं से भाग पड़े ।
5 किलोमीटर तक के इलाके में अफरा-तफरी मच गई। रास्ते में कई लोग गिरते भी जा रहे थे। कई जगहों पर लोग बेहोश पड़े दिखे ,मृत मवेशी भी नजर आए। बच्चों को कंधे पर रखकर लोग अस्पताल भाग रहे थे । भर्ती मरीजों की संख्या में बच्चे शामिल हैं। लोगों के मुताबिक यह घटना सोते समय हुई जिससे अचानक सांस में तकलीफ,भयानक खुजली और आंखों में जलन महसूस होनी शुरू हुई।
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राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन बचाओ बल ने गांव से तकरीबन 15 लोगों को सुरक्षित निकाला इनमें से ज्यादातर को बेसुध हालत में दरवाजा तोड़कर घर से बाहर निकाला गया सुबह करीब 5:30 बजे तक जब हालात काबू में आए तब तक यह जहरीली गैस स्टैंड 4 किलोमीटर के दायरे में 5 गांव और 20 कालोनियों तक फैल गई थी शुरुआती जांच से पता चला है कि हादसा गैस के लिए valve नियंत्रण को ठीक से नहीं संभाले जाने की वजह से हुआ इस दौरान 5000 टन के दो टैंक से जहरीली गैस लीक हुई।
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई एस जगन मोहन रेड्डी घटना की जानकारी लेने दोपहर में विजयवाड़ा से विजाग पहुंचे उन्होंने विभाग के केजीएच और अस्पतालों में भर्ती लोगों का हालचाल जाना।
मुख्यमंत्री कार्यालय ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फोन पर रेड्डी से बात की और घटना के बारे में जानकारी ली। प्रधानमंत्री ने संकट से निपटने में केंद्र के सहयोग की पेशकश की ।केंद्रीय गृह मंत्रालय भी राज्य सरकार के संपर्क में है और हालात पर नजर रखे हुए हैं।
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बृहस्पतिवार को गैस लीक हादसे पर उच्चस्तरीय बैठक में पीड़ितों की सुरक्षा और गैस के असर को कम करने के उपाय पर चर्चा की। बैठक में गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, समेत कई मंत्री व आला अफसर थे। कैबिनेट सचिव ने भी समीक्षा की लिए बैठक बुलाई ।इसमें एम्स निदेशक और एनडीआरएफ के महानिदेशक भी थे।
बैठक में तय हुआ है कि पुणे में केमिकल बायोलॉजिकल,रेडियोलॉजिकल और न्यूक्लीयर विशेषज्ञों के साथ पर्यावरण अनुसंधान संस्था नीरो नागपुर के विशेषज्ञों की टीम विशाखापट्टनम जाएगी और हादसे की पड़ताल करेगी साथ ही प्रभाव से निपटने के कदम उठाने में मदद करेगी।
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-आंध्र प्रदेश के सीएम जगन मोहन रेड्डी ने मृतकों के परिजनों को एक-एक करोड़ रुपए और पीड़ितों को 10 लाख की मदद का एलान किया है अस्पताल में जा चुके लोगों को एक ₹1 लाख मिलेंगे। मामले की जाांच 5 सदस्यीय कमेटी जांच करेगी।
छत्तीसगढ़:- आंध्र प्रदेश गैस रिसाव के अलावा छत्तीसगढ़ में भी पेपर मिल मे क्लोरीन टंकी की सफाई के दौरान जहरीली गैस लीक हो गई । इसकी चपेट में आए 8 मजदूर अस्पताल में भर्ती हैं, जिनमें तीन की हालत नाजुक है।
तमिलनाडु चेन्नई :- तमिलनाडु के नवेली में भी वायलर फटने से 7 लोग घायल हो गए हैं पूर्व राम कुड्डालोर जिले में नेवेली लिग्नाइट कारपोरेशन लिमिटेड के प्लांट में हादसा हुआ है।
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