Form 15G ,15H:- क्या आपको जरूरत है फॉर्म 15G और 15H जमा करने की?
क्या आपको जरूरत है फॉर्म 15G और 15H जमा करने की?
इस प्रश्न का उत्तर बेहद आसान है। यदि आपने बैंक में पैसे फिक्स डिपाजिट कर रखे हैं तो आपके लिए form-15G और 15H जमा करना आवश्यक है।अगर ऐसा नहीं किया तो बैंक एफडी( fixed deposit) से प्राप्त होने वाले ब्याज पर TDS काटेंगे।
बैंक में पैसे फिक्स डिपॉजिट करने वालों को हर वित्त वर्ष की शुरुआत में यानी अप्रैल माह में यह फॉर्म जमा करना होता है।
Form 15G और 15H में क्या अंतर है?
15G फॉर्म 60 से कम उम्र के निवेशकों के लिए है। जबकि 15H वरिष्ठ नागरिकों के लिए है। यानी यदि आप की उम्र 60 साल से कम है और आपने बैंक में पैसे फिक्स डिपाजिट कर रखे हैं तो आपको 15G फॉर्म भरना अनिवार्य है इसके विपरीत यदि आप की उम्र 60 साल से अधिक है और आपने बैंक में पैसे फिक्स डिपाजिट कर रखे हैं तो आपके लिए 15H फॉर्म अनिवार्य है।
इस फॉर्म को भरने के लिए आपके पास पैन कार्ड होना अनिवार्य है।
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15G फॉर्म और 15H फार्म भरने की आवश्यकता क्यों होती है
कर विशेषज्ञों का कहना है कि अगर आपको एफडी (fixed deposit) पर सालाना 40 हजार से ज्यादा का ब्याज मिलता है तो बैंक उस पर टीडीएस लगाएंगे भले ही आप की सालाना कमाई आयकर के दायरे में नहीं आती है।
वरिष्ठ नागरिकों के लिए ब्याज की सीमा ₹50 हजार है। यदि इससे ज्यादा का ब्याज आपको बैंक की तरफ से मिलता है तब आपको मिलने वाले ब्याज पर बैंक टीडीएस लगाएंगे।
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हालांकि आप आयकर के दायरे में नहीं आते और एफडी( fixed deposit) का ब्याज भी 40,000 से कम मिलता है तो बैंक टीडीएस कटौती नहीं करेंगे इसके लिए आपको form15G और 15H जमा करना होगा।
15G और 15H फॉर्म कब जमा करना होता है?
यह फॉर्म हर वित्तीय वर्ष अप्रैल माह में जमा करना होता है।जैसे आपने पिछले वित्त वर्ष में भी यह फॉर्म जमा किया है तो इस साल भी नया फॉर्म भरना होगा। बैंक की ओर से काटे गए टीडीएस को रिटर्न भरते समय समायोजित कर सकते हैं।
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पैन कार्ड नहीं तो 20 फीसदी कटेगा TDS
बैंक एफडी से मिलने वाले ब्याज का लगभग सालाना 10 फीसद की दर से TDS लगता है लेकिन किसी निवेशक के पास पैन कार्ड नही है तो उसे 20 फ़ीसदी की दर से TDS भरना पड़ेगा। अगर आप 30% की उच्च आयकर स्लैब में आते हैं और बिना पेन की जानकारी दिए बैंक में एफडी ( fixed deposit) जमा की है तो आपको अधिक टैक्स देना पड़ सकता है।
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